Karwa Chauth 2022: गुरुवार को महिलाएं अखंड सौभाग्य का करेंगी व्रत, जानें क्यों होती है चांद की पूजा ?
पवित्र कार्तिक महीने की शुरुआत सोमवार से हो गई और इसी के साथ कार्तिक स्नान भी शुरू हो गए। महिलाएं कार्तिक में सूर्योदय से पूर्व स्नान कर ठाकुरजी का पूजन करके पुण्य कमाएंगी। इसके साथ ही चतुर्थी तिथि के दिन 13 अक्टूबर गुरुवार को करवा चौथ का महापर्व मनाया जाएगा , जिसमें महिलाएं अखंड सौभाग्य का व्रत करेंगी और चंद्रमा का दर्शन कर अर्घ्य देकर सुखी गृहस्थ जीवन की कामना करेंगी। करवा चौथ को लेकर शहरों और कस्बों के बाजारों में इन दिनों काफी रौनक देखी जा रही है। महिलाएं करवाचौथ के लिए कपड़े, गहने, मेहंदी , चूड़ियां और अन्य सामान की खरीदारी की जा रही है। इसके अलावा करवा चौथ को लेकर कुम्भकार भी जोर शोर से करवा बनाने के काम में जुटे हैं। इसलिए होती चंद्रमा की पूजा ज्योतिष में चंद्रमा को मन का कारक माना गया है,जो मन की चंचलता को नियंत्रित करता है। हमारे शरीर में दोनों भौहों के मध्य मस्तक पर चंद्रमा का स्थान माना गया है। यहां पर महिलाएं बिंदी या रोली का टीका लगती हैं,जो चंद्रमा को प्रसन्न कर मन का नियंत्रण करती हैं। भगवान शिव के मस्तक पर अर्धचंद्र की उपस्थिति उनके योगी स्वरूप को प्रकट करती हैं।